फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
1 जुलाई की सुबह मचेगा गदर ,
भागेंगे सबरे इधर से उधर ।
सुबह - सुबह 5 बजे उठना पड़ेगा ,
जल्दी मंजन , स्नान करना पड़ेगा ।
साईकिल , मोटरबाइक या हो कार ,
हवा , पेट्रोल भरवाकर हो लो तैयार ।
छुट्टी के दिन निकलने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
छुट्टी में सबरे बन गए थे नवाब ,
देर से उठकर आदत कर ली खराब ।
तुम जो इस आदत को न बदलोगे ,
तो अनुपस्थिति का दंश भोगोगे ।
ABRC को पूरे करने हैं वीक्ष्ण ,
BEO भी करेंगे जमकर निरीक्षण ।
लेट उठने के दिन लदने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
40 दिन तुमने बड़ा आलस दिखाया ,
बेचारी सी खटिया को खूब सताया ।
नए-नए व्यंजन की करी खूब डिमांड ,
पलंग पर खा-खाकर हो गए हो सांड ।
ये 40 दिन तुमने मौज में बिताए हैं ,
बस टीवी रिमोट के बटन दबाए हैं ।
इस हेकड़ी के दिन जाने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
फ्रिज का बड़ा चिल्ड पानी पिया है ,
AC , कूलर का भी आनन्द लिया है ।
पर अब तो पंखा भी नहीं मिलेगा ,
टपटप-टपटप खूब पसीना बहेगा ।
मास्टर की अब यही कहानी है ,
कड़ी धूप में बाइक चलानी है ।
रंग सबके काले पड़ने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
अबकि मास्टरों ने मनाई खूब छुट्टी ,
न ली BLO और रैपिड सर्वे की ड्यूटी ।
अबकि मास्टर RTE के नाम पर ऐंठे हैं ,
इसलिए अधिकारी खौर खाए बैठे हैं ।
आपसे पहले अधिकारी आएँगे विद्यालय ,
चेक होगा ऑफिस से लेकर शौचालय ।
अधिकारी खूब सताने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
ग्रामीण , रसोइया और प्रधान ,
सब मिलकर लेंगे तुम्हारी जान ।
15 जुलाई के बाद जब आएगा बुध ,
सब बच्चों को पिलाना होगा दुग्ध ।
3.59₹ में 200 ml कैसे पिलाओगे ,
क्या दुग्ध में 90% पानी मिलाओगे ।
मास्टर दूधिया बनने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
1 जुलाई की सुबह मचेगा गदर ,
भागेंगे सबरे इधर से उधर ।
सुबह - सुबह 5 बजे उठना पड़ेगा ,
जल्दी मंजन , स्नान करना पड़ेगा ।
साईकिल , मोटरबाइक या हो कार ,
हवा , पेट्रोल भरवाकर हो लो तैयार ।
छुट्टी के दिन निकलने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
छुट्टी में सबरे बन गए थे नवाब ,
देर से उठकर आदत कर ली खराब ।
तुम जो इस आदत को न बदलोगे ,
तो अनुपस्थिति का दंश भोगोगे ।
ABRC को पूरे करने हैं वीक्ष्ण ,
BEO भी करेंगे जमकर निरीक्षण ।
लेट उठने के दिन लदने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
40 दिन तुमने बड़ा आलस दिखाया ,
बेचारी सी खटिया को खूब सताया ।
नए-नए व्यंजन की करी खूब डिमांड ,
पलंग पर खा-खाकर हो गए हो सांड ।
ये 40 दिन तुमने मौज में बिताए हैं ,
बस टीवी रिमोट के बटन दबाए हैं ।
इस हेकड़ी के दिन जाने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
फ्रिज का बड़ा चिल्ड पानी पिया है ,
AC , कूलर का भी आनन्द लिया है ।
पर अब तो पंखा भी नहीं मिलेगा ,
टपटप-टपटप खूब पसीना बहेगा ।
मास्टर की अब यही कहानी है ,
कड़ी धूप में बाइक चलानी है ।
रंग सबके काले पड़ने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
अबकि मास्टरों ने मनाई खूब छुट्टी ,
न ली BLO और रैपिड सर्वे की ड्यूटी ।
अबकि मास्टर RTE के नाम पर ऐंठे हैं ,
इसलिए अधिकारी खौर खाए बैठे हैं ।
आपसे पहले अधिकारी आएँगे विद्यालय ,
चेक होगा ऑफिस से लेकर शौचालय ।
अधिकारी खूब सताने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
ग्रामीण , रसोइया और प्रधान ,
सब मिलकर लेंगे तुम्हारी जान ।
15 जुलाई के बाद जब आएगा बुध ,
सब बच्चों को पिलाना होगा दुग्ध ।
3.59₹ में 200 ml कैसे पिलाओगे ,
क्या दुग्ध में 90% पानी मिलाओगे ।
मास्टर दूधिया बनने वाले हैं ,
फिर से स्कूल खुलने वाले हैं ।
रचनाकार
प्रांजल सक्सेना
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